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प्रदेश के 95 विकासखण्डों में खुलेंगे जन सुविधा केन्द्र एवं जन औषधि केन्द्र

देहरादून। प्रदेश के प्रत्येक विकासखण्ड में वीर माधोसिंह भण्डारी संयुक्त सहकारी खेती की जायेगी। इसके साथ ही बहुद्देशीय सहकारी समितियों के अन्तर्गत सभी 95 विकासखण्डों में जन सुविधा केन्द्र एवं जन औषधि केन्द्रों की स्थापना भी की जायेगी। इस सम्बन्ध में विभागीय अधिकारियों को उपरोक्त योजनाओं को धरातल पर उतारने के लिए चरणबद्ध ढ़ग से कार्य करने के निर्देश दे दिये गये हैं।

सहकारिता मंत्री डाॅ. धन सिंह रावत ने आज अपने शासकीय आवास में सहकारिता विभाग के उच्चाधिकारियों की बैठक ली। उन्होंने केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह के कार्यक्रम की सफलता के लिए विभागीय अधिकारियों को बधाई दी। डाॅ. रावत ने कहा गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने उत्तराखण्ड में सहकारिता विभाग द्वारा किये जा रहे कार्यो की सराहना की है जिसका श्रेय विभाग के सभी अधिकारी एवं कार्मिकों को जाता है। इससे विभाग की जिम्मेदारी और भी बढ़ जाती है।

 

डाॅ. रावत ने कहा कि सहकारिता विभाग ने प्रत्येक विकासखण्ड में वीर माधोसिंह भण्डारी संयुक्त सहकारी खेती करने का निर्णय लिया है जिसके अन्तर्गत वहां की भौगोलिक परिस्थितियों को दृष्टिगत रखते हुये कलस्टर वाइज खेती की योजना तैयार की जायेगी जिससे किसानों की आय में वृद्धि, नौजवानों को रोजगार के साथ-साथ पलायन भी रूकेगा। इसके लिए विभागीय अधिकारियों को पूरी कार्य-योजना तैयार कर प्रथम चरण में 10 विकासखण्डों का चयन कर संयुक्त सहकारी खेती के माॅडल के रूप में तैयार करने के निर्देश दे दिये गये हैं। इसके अलावा सभी 95 विकासखण्डों में जन सुविधा केन्द्रों की स्थापना भी की जायेगी जिससे आम लोगों एवं सहकारिता से जुड़े काश्तकारों को एक ही छत के नीचे इण्टरनेट व अन्य सुविधायें उपलब्ध होगी।

 

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश के प्रत्येक नागरिक को सस्ता इलाज मुहैया कराने के लिए वचनबद्ध है, इसी क्रम में सहकारिता विभाग द्वारा बहुद्देशीय समितियों के अन्तर्गत राज्य के 95 विकासखण्डों में एक-एक जन औषधि केन्द्रों की स्थापना की जायेगी ताकि आम लोगों को सस्ती दवाईयां उपलब्ध करायी जा सके। इसके लिए विभागीय अधिकारियों शीघ्र कार्यवाही के निर्देश दे दिये गये हैं। सहकारिता मंत्री ने बताया कि राज्य सरकार ने पं. दीनदयाल उपाध्याय कृषि ऋण योजना के तहत मृतक बकायादारों का ब्याज माफ करने का निर्णय लिया है जिसके लिए पूरे प्रदेश में मृतक बकायदारों के आश्रितों से सहमति पत्र भरवाये जा रहे हैं ताकि मृतक द्वारा पूर्व में लिये गये सहकारिता ऋण पर ब्याज की धनराशि को माफ किया जा सके। इस योजना के तहत मृतक के आश्रितों को केवल मूलधन ही जमा करना होगा।

 

बैठक में सचिव सहकारिता बी.बी.आर.सी.पुरूषोत्तम, निबन्धक आलोक पाण्डे, अपर निबन्धक, ईरा उप्रेती, अपर निदेशक आन्नद शुक्ल, संयुक्त निबन्धक नीरज बेलवाल, एमपी त्रिपाठी, एमडी राज्य सहकारी संघ रमिन्द्री मन्द्रवाल आदि अधिकारी उपस्थित रहे।

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